नई दिल्ली । दिल्ली में रेप और मर्डर की शिकार हुई नाबालिग दलित बच्ची के परिजनों की तस्वीर सोशल मीडिया पर शेयर करने के मामले में राष्ट्रीय बाल संरक्षण आयोग ने फेसबुक को खत लिखने के बाद अब फेसबुक इंडिया के हेड को तलब किया है।
राहुल गांधी के खिलाफ एक्शन की मांग मामले में क्या प्रगति हुई है, इस विवरण के साथ बाल संरक्षण आयोग ने फेसबुक इंडिया के हेड सत्या यादव को 17 अगस्त को पेश होने को कहा है।
आयोग ने फेसबुक को पत्र लिखकर कहा था कि राहुल गांधी ने बच्ची के परिजनों की तस्वीर शेयर करके रेप पीड़िता की पहचान को उजागर किया है, जो कानून के खिलाफ है।
राष्ट्रीय बाल संरक्षण आयोग (एनसीपीसीआर) ने फेसबुक इंडिया (ट्रस्ट एंड सेफ्टी) के प्रमुख सत्या यादव को 17 अगस्त को शाम 5 बजे वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से सांसद राहुल गांधी के इंस्टाग्राम प्रोफाइल के खिलाफ की गई कार्रवाई का विवरण के साथ पेश होने के लिए कहा है। बता दें कि इंस्टाग्राम पर फेसबुक का ही मालिकाना हक है।
राहुल गांधी ने वह विवादित तस्वीर ट्विटर के अलावा इंस्टाग्राम प्रोफाइल पर भी शेयर की थी। दरअसल, राष्ट्रीय बाल अधिकार संरक्षण आयोग (एनसीपीसीआर) ने ट्विटर के बाद शुक्रवार को फेसबुक से कहा था
कि वह दिल्ली में कथित दुष्कर्म की पीड़िता नौ साल की बच्ची के माता-पिता की तस्वीर पोस्ट करने के लिए कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी के इंस्टाग्राम प्रोफाइल के खिलाफ कार्रवाई करे।
गत चार अगस्त को एनसीपीसीआर ने ट्विटर से इसी मामले में राहुल गांधी के अकाउंट को लेकर कार्रवाई करने के लिए कहा था। इसके बाद ट्विटर ने कांग्रेस नेता का अकाउंट बंद (लॉक) कर दिया था।
एनसीपीसीआर ने फेसबुक को पत्र लिखकर कहा कि उसने राहुल गांधी के इंस्टाग्राम पर पोस्ट किया हुआ एक वीडियो देखा है जिसमें बच्ची के माता-पिता की पहचान उजागर होती है।
इस वीडियो में बच्ची के पिता और माता का चेहरा स्पष्ट रूप से देखा जा सकता है जो कानून का उल्लंघन है।
आयोग ने फेसबुक से कहा कि राहुल गांधी के इंस्टाग्राम प्रोफाइल को लेकर वह उचित कार्रवाई करे क्योंकि जो वीडियो डाला गया है वह किशोर न्याय कानून, 2015 और यौन अपराधों से बच्चों का संरक्षण कानून (पॉक्सो) और भारतीय दंड संहिता की विभिन्न प्रावधानों का उल्लंघन है।