नई दिल्ली| लोकसभा चुनाव के पहले चरण में कुल 102 निर्वाचन क्षेत्रों के लिये शुक्रवार को 60 प्रतिशत से अधिक मतदान हुआ. छत्तीसगढ़ की एक सीट पर 63-41 प्रतिशत मतदाताओं ने मताधिकार का प्रयोग किया.
कुल 543 लोक सभा सीटों के लिये सात चरणों में कराये जा रहे चुनाव के पहले चरण के चुनाव में शुक्रवार को 21 राज्यों और केन्द्र शासित प्रदेशों की 102 सीटों पर कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच सुबह सात बजे से शाम छह बजे तक वोट डाले गये. इन सीटों पर कुल 16.63 करोड़ मतदाताओं को कुल 1625 प्रत्याशियों के बीच चुनाव करना था.
निर्वाचन आयोग से शाम सात बजे तक प्राप्त आंकड़ों के अनुसार, पहले चरण में त्रिपुरा में वोट डालने वाले मतदाताओं का अनुपात सर्वाधिक 79.90 प्रतिशत रहा, जबकि बिहार में सबसे कम 47-49 प्रतिशत मतदाता ही वोट डालने निकले. आयोग द्वारा जारी अद्यतन आंकड़ों के अनुसार, त्रिपुरा की एक सीट पर 79.90 प्रतिशत, पश्चिम बंगाल में तीन सीटों पर 77-57 प्रतिशत, मणिपुर में दो सीटों पर 68.62 प्रतिशत, मेघालय में दो सीटों पर 70.20 प्रतिशत और असम में पांच सीटों पर 71.38 प्रतिशत वोट पड़े थे.
पुड्डुचेरी में एक सीट पर 73.25 प्रतिशत, छत्तीसगढ़ की एक सीट पर 63-41 प्रतिशत मतदाताओं ने मताधिकार का प्रयोग किया. इसी तरह जम्मू-कश्मीर में एक सीट पर 65.08 प्रतिशत, मध्य प्रदेश में पांच सीट पर 63-33 प्रतिश्थत, अरुणाचल प्रदेश में दो सीट पर 65.46 प्रतिशत, सिक्किम में एक सीट पर 68.06 प्रतिशत, नागालैंड में एक सीट पर 56.77 प्रतिशत मतदाताओं ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया.
नक्सली हिड़मा के गांव पूवर्ती में एक भी वोट नहीं पड़े
मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक छत्तीसगढ़ की नक्सल प्रभावित बस्तर लोकसभा सीट का एक ऐसा मतदान केंद्र भी है जहां एक भी वोट नहीं पड़ा. दरअसल, बस्तर लोकसभा क्षेत्र के सुकमा जिले में स्थित खूंखार नक्सली हिड़मा का गांव पूवर्ती सुरक्षा के लिहाज से अति संवेदनशील इलाका माना जाता है, जिसके चलते जिला प्रशासन द्वारा पूवर्ती बूथ को सिलगेर शिफ्ट कर कड़े सुरक्षा के इंतजाम किए गए थे. बावजूद इसके लोग मतदान करने नहीं पहुंचे. बता दें कि विगत 3 दशक से इस गांव के लोग मतदान में हिस्सा नहीं ले रहे हैं, क्योंकि नक्सली मतदान करने वाले ग्रामीणों की उंगली काट देते थे. हाल ही में इस क्षेत्र में सुरक्षाबल के जवानों ने कैंप खोला है. इलेक्शन कमीशन ने यहां के लोगों को मतदान करने के बाद हाथ में स्याही नहीं लगाने का निर्देश भी दिया है उसके बाद भी सुबह से अभी तक इस गांव के एक भी मतदाता ने मतदान नहीं किया है.
मिजोरम में एक सीट पर 54.18 प्रतिशत, उत्तर प्रदेश में आठ सीटों पर 57.61 प्रतिशत, उत्तराखंड में पांच सीटों पर 53.64 प्रतिशत, अंडमान-निकोबार में एक सीट पर 56.87 प्रतिशत, महाराष्ट्र में पांच सीटों पर 55-29 प्रतिशत, लक्षद्वीप में एक सीट पर 59.02 प्रतिशत, राजस्थान में 12 सीटों पर 50.95 प्रतिशत, तमिलनाडु की 39 सीटों पर 62.19 प्रतिशत वोट डाले गये थे. (deshdesk)