भुवनेश्वर। भाजपा के वरिष्ठ नेता और केंद्रीय जनजातीय मामलों के मंत्री अर्जुन मुंडा ने शनिवार को ओडिशा के मंत्री नब किशोर दास की निर्मम हत्या की स्वतंत्र एजेंसी से जांच कराने की मांग की। यहां मीडियाकर्मियों से बात करते हुए मुंडा ने कहा कि मंत्री की हत्या राज्य की कानून व्यवस्था के लिए बड़ी चिंता का विषय है। उन्होंने पूछा कि अगर ऐसी घटना एक मंत्री के साथ होती है, तो राज्य में आम लोगों की क्या स्थिति होगी? अगर पुलिस और एक मंत्री के बीच ऐसी नौबत आ जाए तो आम जनता किस पर भरोसा करेगी? इसलिए मामले की जांच स्वतंत्र एजेंसी से कराई जाए ताकि सच्चाई सामने आ सके।
जनजातीय मामलों के मंत्री ने ओडिशा एसटी सूची में 169 समुदायों को शामिल नहीं करने के लिए ओडिशा सरकार को भी दोषी ठहराया। उन्होंने कहा कि यह कोई राजनीतिक मुद्दा नहीं है। यह एक संवैधानिक मामला है। इसे राजनीतिक बयानबाजी से नहीं सुलझाया जा सकता। मुंडा ने कहा कि राज्य सरकार ने एसटी सूची में समुदायों को शामिल करने के लिए कोई ठोस प्रस्ताव नहीं दिया है।
उन्होंने कहा कि समुदायों के बारे में उचित मानवशास्त्रीय शोध किए जाने की आवश्यकता है। जिनकी जांच के बाद केंद्र वास्तविक आदिवासियों को सूची में शामिल कर सकता है।
मंत्री ने कहा कि 120 मामलों में कोई दस्तावेज नहीं है, कोई शोध नहीं किया गया है। अगर हम कागज का एक टुकड़ा प्राप्त करने के बाद उन पर विचार करेंगे, तो पूरा भारत हमें आदिवासी बनाने के लिए कहेगा।
मुंडा केंद्रीय बजट 2023-24 में मोदी सरकार द्वारा उठाए गए कार्यक्रमों और कल्याणकारी उपायों के बारे में लोगों को जानकारी देने के लिए ओडिशा आए हुए हैं।