पटना| बिहार की राजधानी पटना में बाढ़ का खतरा मंडरा रहा है। पटना जिले में 4 नदियां खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं। गंगा समेत पुनपुन, दरघा और कररूआ नदियों का जलस्तर सोमवार को खतरे के निशान के ऊपर चला गया जबकि सोन नदी का जलस्तर भी काफी तेजी के साथ बढ़ रहा है।
नदियों के बढ़ते जलस्तर के कारण तटबंध ऊपर दबाव बढ़ा है और कई इलाकों में पानी घुसा है। एनएच 31A पर दनियावां के पास बाढ़ का पानी चढ़ गया है। गांधी घाट पर गंगा नदी खतरे के निशान से ऊपर बह रही हैं। गांधी घाट पर खतरे का निशान 48.60 मीटर है जबकि यहां गंगा का जलस्तर 48.66 मीटर जा पहुंचा है। आज इसमें और ज्यादा इजाफा होने की उम्मीद है। 4 अगस्त तक गंगा का जलस्तर यहाँ लगभग 50 मीटर के आसपास पहुंच जाएगा।
उधर नदियों के जलस्तर में अचानक से वृद्धि होने के कारण पटना के कई निचले इलाकों में बाढ़ का पानी फैलने लगा है। पुनपुन नदी का जलस्तर पिछले 24 घंटे में 2.16 मीटर बढ़ा है जबकि दरधा नदी का जलस्तर 1.70 मीटर बढ़ा है। गंगा का जलस्तर बढ़ने के कारण कुर्जी मोड़ के पास बिंद टोली का संपर्क बाकी इलाकों से टूट गया है जबकि दारधा नदी का पानी कोल्हाचक, सतपरसा, गुलरिया, रूपसपुर आदि इलाकों में तटबंध के ऊपर से बह रहा है।
तटबंध की मरम्मती का काम प्रशासन की तरफ से जारी है लेकिन इसके बावजूद कई इलाकों में पानी फैला है। दनियावां-बिहारशरीफ के बीच एनएच पर गाड़ियों का परिचालन बंद करना पड़ा है। फल्गु की सहायक नदियों के जलस्तर में वृद्धि के कारण इस इलाके में एनएच पर पानी चल गया है।
उधर मसौड़ी प्रखंड के निचले गांवों में बाढ़ का पानी घुस चुका है। 2 दर्जन से अधिक के घर महुआबिगहा में बाढ़ से प्रभावित हुए हैं जबकि बर्रा पंचायत के कई गांवों में भी खेत के अंदर बाढ़ का पानी घुस गया है। पटना के गांधी घाट पर भी गंगा नदी का पानी ऊपर चढ़ चुका है।
डीएम ने प्रशासन को अलर्ट मोड में रहने के लिए कहा है। तटबंधों की सुरक्षा में लगातार अधिकारी लगे हुए हैं। आपको बता दें कि बाढ़ के हालात को लेकर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने भी सोमवार की शाम समीक्षा बैठक की थी और अधिकारियों को आवश्यक निर्देश दिए थे।