बिजेमाल सरपंच एवम पूर्व सचिव द्वारा डेढ़ लाख का अवैध आहरण
महासमुंद जिले के पिथौरा जनपद पंचायत क्षेत्र के दूरस्थ ग्राम पंचायत बिजेमाल में नए पंचायत सचिव के प्रभार लेने के बाद सरपंच एवम पूर्व सचिव द्वारा कोई डेढ़ लाख रुपये का अवैध आहरण कर लिया गया है।वर्तमान सचिव द्वारा पूरे मामले की जानकारी स्थानीय जनपद सीईओ को देने के बाद सीईओ द्वारा पूरे मामले की जांच के आदेश दिए हैं।
महासमुंद| महासमुंद जिले के पिथौरा जनपद पंचायत क्षेत्र के दूरस्थ ग्राम पंचायत बिजेमाल में नए पंचायत सचिव के प्रभार लेने के बाद सरपंच एवम पूर्व सचिव द्वारा कोई डेढ़ लाख रुपये का अवैध आहरण कर लिया गया है।वर्तमान सचिव द्वारा पूरे मामले की जानकारी स्थानीय जनपद सीईओ को देने के बाद सीईओ द्वारा पूरे मामले की जांच के आदेश दिए हैं।
ज्ञात हो कि 14वे एवम 15 वे वित्त योजना मद में जारी फंड में गड़बड़ी के अनेक मामले सामने आ चुके हैं।परन्तु अब तक किसी भी मामले में सरकारी कार्यवाही सुनने नहीं मिली है।
मिली जानकारी के अनुसार विकासखण्ड के दूरस्थ ग्राम पंचायतों में लगातार गड़बड़ी की खबरों के बीच अब नए पदस्थ पंचायत सचिव की जानकारी के बगैर ही पूर्व सचिव द्वारा सरपंच से मिलकर कोई डेढ़ लाख रुपयों का आहरण दोनों के डिजिटल हस्ताक्षर से कर लिए गए।
इस सम्बंध में नवपदस्थ ग्राम पंचायत सचिव सुखसागर जगत से सम्पर्क किया गया। उन्होंने चर्चा में बताया कि उनकी पदस्थापना सचिव बिजेमाल के पद पर हुई है। इस पद पर उन्होंने विगत 27 फरवरी को प्रभार सम्भाल लिया था। परन्तु अचानक नए मार्च माह के पहले ही दिन सरपंच एवम स्थानांतरित सचिव ने अपने डिजिटल हस्ताक्षर का उपयोग करते हुए 15 वे वित्त मद से एक लाख चालीस हजार रुपये निकल लिए। इसके बाद जब वे पंचायत की पासबुक इंट्री करवाने बैंक गए तब उन्हें उक्त बड़े आहरण का पता चला। इसके बाद उन्होंने नियमानुसार पिथौरा सी इ ओ को एक आवेदन के माध्यम से मामले से अवगत करवा दिया है।
जांच कराई जा रही-सीईओ
इधर स्थानीय जनपद के मुख्यकार्यपालन अधिकारी प्रदीप प्रधान ने इस प्रतिनिधि को बताया कि उक्त मामले की जानकारी उन्हें है।वे इसकी जांच करवा रहे हैं।जांच रिपोर्ट आने के बाद नियमानुसार कार्यवाही की जाएगी।
उक्त सम्बन्ध में बिजेमाल सरपंच से चर्चा हेतु सम्पर्क का प्रयास किया गया परन्तु उन्होंने मोबाइल रिसीव नहीं किया जिससे उनका पक्ष नहीं लिया जा सका।
बहरहाल क्षेत्र की अनेक ग्राम पंचायतों में इस तरह के मामले सामने आने,उच्च अधिकारियों से शिकायत किये जाने के बाद भी नतीजा सिफर रहने के कारण अब इस विभाग में भी गड़बड़ियों के मामले लगातार बढ़ रहे है।