बीजापुर| तेंदूपत्ता के नगद भुगतान समेत कई मांगों को लेकर गुरुवार सुबह सैकड़ों आदिवासियों का समूह जिला मुख्यालय बीजापुर पहुंचा| प्रशासन की तरफ से एसडीएम धुर्वे ने ग्रामीणों के प्रतिनिधि मंडल से बात की|
हालांकि धारा 144 लागू होने का हवाला देते पुलिस ने पहले तो ग्रामीणों को शहर से बाहर चलने को कहा, फिर प्रशासन के माध्यम से वार्ता करा ग्रामीणों को वापस भेजा।
आज सुबह जिला मुख्यालय बीजापुर में तेंदूपत्ता के नगद भुगतान समेत सात सूत्रीय मांगों को लेकर गुरुवार सुबह सैकड़ों आदिवासियों ने रैली निकाल प्रदर्शन की कोशिश की|
मांगों को लेकर जिले के अलग-अलग हिस्सों से सैकड़ों की तादात में पहुँचे ग्रामीण अपने साथ लकड़ी, राशन, बर्तन लेकर प्रदर्शन की तैयारी में पहुँचे थे। जिसकी जानकारी पुलिस को भी नहीं थी।
आनन-फानन में बड़ी संख्या में पुलिस बल की तैनाती कर ग्रामीणों को शहर से बाहर खेत में बैठक करा समझाइश देने की कोशिश की गई।
प्रशासन की तरफ से एसडीएम धुर्वे ने ग्रामीणों के प्रतिनिधि मंडल से बात की| जिसमे तेंदूपत्ता के नकद भुगतान, गड्डी रेट बढ़ाने,गेम सेंचुरी में समिति बनाने जैसी मांग ग्रामीणों की तरफ से रखी गयी।
इनकी मांगें
(1) प्रति पत्ता गड्डी का संस्कार 5/- रूपया दे।
2 ) ऑनलाइन पेमेंट बंद कर नकदी दिया जाये।
( 3 ) 2019 20 का बोनस राशि गांव-गांव में भुगतान हो।
4) अभ्यारण्य में आने वाला सेंचुरी को हटाया जाए, सरकारी समितियां खोला जाए।
5) तेन्दूपत्ता योजना अन्तर्गत छात्रा-छात्राओं को अनिवार्य रूप से छात्रावृति दिया जाए।
6) वनोपज कि दर तय करने का अधिकार जनता का हो।
(7) पत्ता कटाई/तोड़ाई के दौरान जंगली जानवरों से या किसी अन्य तरीके से घायल होने
पर 01 मृत्यु होने पर 05 लाख रूपये का मुआवजा दिया जाये। बुट्टा-कटाई का मजदूरी पर 350 रूपये दिया जाये।